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Monday 28 June 2021

जीव विज्ञान के तथ्य (Facts of Biology)-6

जीव विज्ञान के तथ्य (Facts of Biology)-6


    1. लाइगेज नामक एन्जाइम का उपयोग डी0एन0ए0 के टुकडों को जोडने के लिए किया जाता है।
    2. डी0एन0ए0 में शर्करा डीऑक्सीराइबोज में होती है।
    3. ऊतक संवर्धन के दो पाइलट संयन्त्रों की स्थापना नई दिल्ली व पुणे में की गई।
    4. वष्पोत्सर्जन में पत्तियों से पानी वाष्प के रूप में निकलता है।
    5. पेशी में संकुचन कारण मायोसिन व एक्टिन हैं।
    6. काश्ठ का सामान्य नाम द्वितीयक जाइलम है
    7. हदय की धड़कन को नियन्त्रित करने के लिए पेसमेकर इस्तेमाल किया जाता है।
    8. सिनैप्सिस, तन्त्रिका एवं दूसरी तन्त्रिका के बीच होता है।
    9. अदरक एक तना है जड़ नही, क्योंकि इसमें पर्व व पर्वसन्धियाँ होती हैं।
    10. प्लाज्मा झिल्ली कोशिका के भीतर तथा बाहर, जल एवं कुछ विलयों के मार्ग का नियन्त्रण करती है।
    11. फलीदार पादप कृषि में महत्वपूर्ण है क्योकि नाइट्रोजन स्थिर करने वाले जीवाणु का उनमें साहचर्य होता है।
    12. प्रत्येक गुण सूत्र में कई जीन्स होते है।
    13. फाइब्रिनोजन , रूधिर में विद्यमान व यकृत में बनता है।
    14. स्पर्श करने पर छुईमुई पौधे की पत्तियाँ मुरझा जाती हैं क्योकि पर्णाधार का स्फीति दाब बदल जाता है
    15. पौधे नाइट्रोजन को नाइट्राइट के रूप में ग्रहण करते हैं।
    16. गर्भ में बच्चे का लिंग निर्धारण पिता के गुणसूत्रों के द्वारा किया जाता है।
    17. प्रकाश संष्लेशण प्रक्रिया का प्रथम चरण सूर्य के प्रकाश द्वारा पर्णहरिम का उत्तेजन हेता है।
    18. जल के अणुओं के लिए कोशिका भित्तियों का आकर्षण बल अधिशोषण कहलाता है।
    19. हमारी जीभ का वह भाग जो मीठा स्वाद बताता है वह अग्रभाग होता है।
    20. भूमि में मैग्नीशियम तथा लोहे की कमी पौधे में हरिमहीनता का कारण है।
    21. केले बीजरहित होते हैं क्योकि ये त्रिगुणित होते है।
    22. वाष्पोर्त्सजन पोटोमीटर से मापा जाता है।
    23. अन्तःशोषण के कारण जल में रखने पर बीज फूल जाते है।
    24. प्रकाश तथा अन्धकार दोनों में केवल हरिमहीन कोशिकाओं में श्वसन होता है।
    25. कार्क के बाहर विलग परत का बनना शरद ऋतु में शाखाओं से पत्तियाँ गिरने का कारण है।
    26. यदि किसी पुष्प में चमकदार रंग, सुगन्ध तथा मरकन्द होते है, तो कीट परागित होता है।
    27. वाहिनिकाएँ, वाहिकाएँ काष्ठ तन्तु तथा मृदूतक जाइलम में पाये जाते है।
    28. व्हेल केवल बच्चे देते है।
    29. गर्भाशय में विकसित हो रहे भ्रूण को प्लेसेण्टा द्वारा पोषण मिलता है।
    30. एक निशेचित अण्डे का दो खण्डों में विभाजन हो, तथा दोनों भाग अलग हो जाएँ तो समान जुडवाँ बच्चे पैदा होते हैं।
    31. वृक्क जब काम करना बन्द कर देता है, तो मनुष्य के रूधिर में से डायलिसिस द्वारा विषाक्त तत्वों को पृथक किया जाता है।
    32. वृक्कों में मूत्र के निर्माण में केशिका-गुच्छीय फिल्टरन, पुनः अवशोषण तथा नलिका स्रावण क्रिया का क्रम उचित है।
    33. हाइड्रोपेनिक्स बिना मिटटी की खेती से सम्बन्धित है।
    34. एपोमिक्सिस का अर्थ बिना लिंगी जनन हुए भ्रूण का निर्माण है।
    35. अदरक राइजोम है।
    36. हम सेलुलोज को नही पचा सकते है लेकिन गाय पचा सकती है क्योंकि गायों की आहारनली में ऐसे जीवाणु होते है जो सेलुलोज को पचा सकते है।
    37. किसी जन्तु द्वारा भोजन ग्रहण करने की क्रिया को अन्तर्ग्रहण कहते हैं।
    38. कीटपक्षी पौधे कीडों को खाते है क्योकि वे जिस मिट्टी में उगते है, उसमें नाइट्रोजन की कमी होती है।
    39. अधिपादप (एपीफाइट) ऐसे पौधे है जो केवल आश्रय के लिए अन्य पौधे पर निर्भर करते है।
    40. माइकोप्लाज्मा सबसे सूक्ष्म स्वतन्त्र रूप से रहने वाला जीव है।
    41. हरित लवक, माइटोकोण्ड्रिया, केन्द्रक पादप कोशिका में डी0एन0ए0 होता है।
    42. सीखना व याद रखना सेरीब्रम से सम्बन्धित है।
    43. फीताकृमि अनॉक्सी-श्वसन करता है।
    44. यदि संसार के सभी जीवाणु तथा कवक नष्ट हो जाएँ , तो संसार लाशों तथा सभी प्रकार के सजीवों के उत्सर्जी पदार्थों से भर जाएगा।
    45. हरित लवक में ग्रेना और स्ट्रोमा पाये जाते हैं।
    46. प्रोकैरियोट वे जीव हैं जिनमें केन्द्रक सुविकसित नहीं होता।
    47. वनस्पति विज्ञान की वह शाखा जिसमें शैवालों का अध्ययन किया जाता है, फाइकोलॉजी कहलाती है।
    48. पालन-पोषण द्वारा मानव जाति की उन्नति का अध्ययन यूथेनिक्स कहलाता है।
    49. मानव खोपड़ी में 22 हड्डियाँ होती हैं।
    50. 3-4 वर्ष के बच्चे में चवर्णक दाँत नहीं होते।

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